उज्जला योजना पर खड़े हुए कई सवाल दरअसल उतर प्रदेश के बलरामपुर जिले में पांच हज़ार से ज्यादा रसोई गैस सिलेंडर बरामद होने से हड़कंप मच गया है। बताया जा रहा है नरेंद्र मोदी ड्रीम प्रोजेक्ट का अबतक का यह सबसे बड़ा घोटाला माना जा रहा है। यह सभी सिलेंडर भारत- नेपाल बॉर्डर की एक एक गैस एजेंसी के गोदाम केपास ही झाड़ियो में छिपाकर रखे गए थे। 2016 में उज्जला योजना की शुरुआत हुई थी।
तब बलरामपुर जिले में भारत – नेपाल सीमा पर मौजूद भार्गव इंडियन गैस एजेंसी से गैस देने के नाम पर ग्रामीणों से फार्म फार्म भरवाए गए थे। एजेंसी को जब गैस, चूल्हा और रेग्लुलर भेज दिए गये तब एजेंसी ने उसे अपने कस्टमर्स तक पहुंचाने के बजाय इन्हे स्टोर करना शुरू कर दिया। इस बात की जानकारी मिलने पर जिला प्रशासन जांच में जुट गई है। फिलहाल लोगो को हैरान कर देने वाली यह है, कि आखिर इतनी बड़ी सख्या में गैस सिलेंडर कैसे यंहा पहुंचे। और किसके द्वारा . आपको बता दे फिलहाल जिला प्रशासन ने वंहा स्थानीय गैस सिलेंडर एजेंसी को सीज कर दिया है।
WRITTEN BY- RISHU TOMAR