देश औऱ दुनिया में कोरोना संक्रमण की दूसरी लहर से एक बार फिर ना सिर्फ चिंता लगातार बढ़ती जा रही है बल्कि सभी कोरोना की वैक्सीन का बेसब्री से इंतजार कर रहे हैं। हिंदुस्तान में भी एक बार फिर संक्रमण की स्थिति खराब होती जा रही है। ऐसे में कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने केंद्र सरकार से कुछ सवाल पूछे थे। राहुल गांधी के इन सवालों को लेकर केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री ने ना सिर्फ जवाब दिया बल्कि साऱी स्थिति भी साफ कर दी है। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री डॉक्टर हर्षवर्धन ने एक अखबार से बात करते हुए कहा कि कि कोरोना वैक्सीन के लिए सभी सरकारी योजनाओं की तरह फंड का आवंटन किया जाएगा। इसके अलावा वैक्सीन के लिए प्राथमिकता वाले लोगों का चयन कर लिया गया है। देश में सबसे पहले हेल्थकेयर वर्कर्स को वैक्सीन दी जाएगी। डिस्ट्रीब्यूशन को लेकर एक्सपर्ट ग्रुप ने पूरी योजना भी तैयार कर ली है। बजट को लेकर उन्होंने कहा कि जैसे दूसरी सरकारी योजनाओं के लिए फंड आवंटित होता है वैसे ही इसके लिए भी राशि दी जाएगी।
खबर है कि देश में वैक्सीन की पहली खेप 2021 के शुरुआत दिनों में आ सकती है। वैक्सीन की पहली डोज़ देश के एक करोड़ स्वास्थ्य कर्मियों दिया जाना तय हुआ है। वैक्सीनेशन के लिए डेटा बेस लगभग तैयार है। अब तक 92 फीसदी सरकारी अस्पतालों ने अपना डेटा दे दिया है। 56% प्राइवेट हॉस्पिटल के भी डेटा कलेक्ट कर लिए गए हैं। भारत में करीब 1 करोड़ स्वास्थ्य कर्मचारी हैं औऱ सबसे पहले वैक्सीन इन्हीं को दी जाएगी।
दरअसल कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने पीएम नरेंद्र मोदी से पूछा था कि देश को ये बताना चाहिए कि कोरोना वायरस के किस टीके का चयन भारत के लिए किया जाएगा। साथ ही पूछा था कि पहले टीका किसको मिलेगा और इसके वितरण की रणनीति क्या है? क्या ‘पीएम केयर्स’ कोष का इस्तेमाल मुफ्त टीकाकरण के लिए होगा? कब तक सभी भारतीय नागरिकों को टीका लग जाएगा?। वहीं राहुल गांधी के इन सभी सवालों को लेकर केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री ने साफ शब्दों में जवाब दे दिए हैं।