हिंदू शास्त्रों के अनुसार वैदिक काल से ही भगवान भास्कर को पूजा जाता गया है। भगवान विष्णु ने भी अपने राम और कृष्ण अवतार में सूर्य देव को अपना आराध्य माना था। वैदिक काल से ही ऋषि मुनि भगवान सूर्य की पूजा करते आए है। और आज के समय मे भी भगवान सूर्य को अपना आराध्य मान अगर आप निष्ठा भाव से भगवान सूर्य देव की पूजा करेंगे तो आपकी मनोकामना जल्दी ही पूर्ण होगी
आज हम आपको सूर्यदेव को जल्द ही प्रसन्न करने के उपाय के साथ साथ सूर्य देव के बारे में भी बताएंगे। साथ ही आपको यह भी बता दें। यदि आपको किसी भी कार्य मे कोई कष्ट या परेशानी का सामना करना पड़ रहा है, तो आप भगवान सूर्य की आराधना कर अपने कष्टों का निवारण तो करेंगे ही साथ ही उन्हें प्रसन्न कर उनसे आशीर्वाद प्राप्त कर किसी भी कार्य को कर सकते है।
इससे आपके सभी कार्य जल्दी से जल्दी बन जाएंगे। चलिए अब आपको सूर्य पूजा विधि को बताते है। साथ ही रविवार का दिन सूर्य देव के सूर्य भगवान की आराधना करने से वो प्रसन्न होते है यह भी आपको बताएंगे।
रविवार को साधना करने से जल्द प्रसन्न होते है सूर्यदेव
क्या आप जानते है? रविवार के दिन ही साधना करने से भगवान सूर्य जल्द ही प्रसन्न हो जाते है। रविवार का दिन भगवान सूर्य को समर्पित है। इस दिन भगवान सूर्य की साधना-आराधना करने पर शीघ्र ही उनकी कृपा प्राप्ति होती है। रविवार के दिन भक्ति-भाव से किए गए पूजन से प्रसन्न होकर प्रत्यक्ष देवता सूर्य देव, अपने भक्तों को आरोग्य(रोग से मुक्ति) का आशीर्वाद प्रदान करते हैं।
भगवान भास्कर की साधना की विधि
भगवान सूर्य देव की साधना विधि बहुत ही सरल है। आप इसे अपनी दिनचर्या में भी शामिल कर सकते है। पर आपको इसके लिए अपने आलस्य को त्यागना होगा। सनातन परंपरा में प्रत्यक्ष देवता सूर्य की साधना उपासना शीघ्र फल देने वाली मानी गई है। सूर्य देव की पूजा के लिए सूर्योदय से पूर्व उठकर, स्नान करे। इसके पश्चात उगते हुए सूर्य का दर्शन करते हुए, उन्हें ॐ घृणि सूर्याय नमः कहते हुए, जल अर्पित करें। ध्यान रहे सूर्य को दिए जाने वाले जल में लाल रोली, लाल फूल मिलाकर, जल समर्पित करें। सूर्य को अर्ध्य देने के पश्चात लाल आसन पर बैठकर, पूर्व दिशा की तरफ मुख करके, सूर्य के मंत्र का कम से कम 108 बार जाप करें।
सूर्य नमस्कार भी कर सकतें है आप
आपको बता दें सूर्य देव की साधना से ना, सिर्फ सुख समृद्धि की प्राप्ति होती है। बल्कि आरोग्य का वरदान भी प्राप्त होता है। सूर्य को किए जाने वाले नमस्कार को सर्वांग व्यायाम भी कहा जाता है। इसे करने से अच्छी तरह सेहत के साथ-साथ मानसिक शक्ति भी मिलती है।
सात घोड़ो के रथ पर सवार रहते है भगवान भास्कर
क्या आप जानते है कि, हमारी सृष्टि के प्रत्यक्ष देवता भगवान सूर्य के रथ में सात घोड़े होते हैं। जिन्हें शक्ति एवं स्फूर्ति का प्रतीक माना जाता है। भगवान सूर्य का रथ यह प्रेरणा देता है कि, हमें अच्छे कार्य करते हुए सदैव आगे बढ़ते रहना चाहिए तभी जीवन में सफलता मिलती है।
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