पंजाब के आल इंडिया कांग्रेस कमेटी ने पंजाब की चुनाव कमेटी और लंबे समय से अटकी पड़ी जिला कमेटियों को मंजूरी दे दी है। जिला कमेटियों में जहां कांग्रेस के प्रदेश प्रधान नवजोत सिंह सिद्धू ने अपनी ताकत दिखाई है तो 117 विधानसभा क्षेत्रों में टिकटों की सिफारिश के लिए बनाई गई चुनाव कमेटी में हाईकमान ने अपनी ताकत दिखाई है।
इस कमेटी के चेयरमैन तो सिद्धू होंगे, लेकिन उनके साथ 52 नेताओं की टीम होगी। चुनाव कमेटी में कैप्टन अमरिंदर सिंह की पत्नी परनीत कौर भी होंगी।
पंजाब में कमेटियों को दी मंजूरी, जिलों में प्रधान नवजोत सिंह सिद्धू तो चुनाव कमेटी में दिखाई अपनी ‘ताकत’
बता दे की कांग्रेस ने संगरूर जिले को छोड़कर बाकी के 28 जिलों में जिला प्रधान व कार्यकारी प्रधान के नामों की घोषणा कर दी है। रूपनगर को छोड़ दिया जाए तो सभी जिलों में जिला प्रधान के साथ-साथ चार से लेकर एक कार्यकारी प्रधान भी लगाए गए हैं।
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लुधियाना में सर्वाधिक चार कार्यकारी प्रधान लगाए गए हैं। जनवरी 2020 में सोनिया गांधी ने कमेटियों को भंग कर दिया था और सुनील जाखड़ को ही प्रधान बनाए रखा था।
पंजाब के मंत्री, सांसद, राज्य सभा सदस्य भी शामिल
पंजाब चुनाव कमेटी में कांग्रेस ने ‘सभी का साथ कांग्रेस का विकास’ नीति को अपनाया है। 117 विधानसभा सीटों पर टिकट के लिए आवेदन करने वाले उम्मीदवारों को शार्टलिस्ट करने के लिए पार्टी ने 53 सदस्यों की कमेटी बनाई है।
कमेटी में जहां पार्टी ने सभी मंत्रियों, लोकसभा सांसद व राज्यसभा सदस्य को शामिल किया है। पंजाब के मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी की नई कैबिनेट में शामिल नहीं हुए पुराने मंत्रियों को भी इस कमेटी में स्थान दिया गया है। नई कैबिनेट में स्थान न बना पाने वाले पूर्व कैबिनेट मंत्री गुरप्रीत कांगड़, बलबीर सिंह सिद्धू, सुंदर शाम अरोड़ा, राणा गुरमीत सिंह सोढ़ी और साधू सिंह धर्मसोत को भी शामिल किया है।