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सवर्ण आरक्षण संविधान को लेकर असदुद्दीन ओवैसी ने दिखाई नाराज़गी


वरुण ठाकुर की रिपोर्ट

सवर्णों को आरक्षण देने के लिए सरकार ने लोकसभा की लड़ाई जीत ली है. लोकसभा में मंगलवार को संविधान संशोधन बिल पेश कर दिया है. इस मुद्दे पर बहस के बाद रात 9.55 बजे वोट‍िंग हुई. वोट‍िंग में 326 सांसदों ने हिस्‍सा लिया. इसमें संव‍िधान संशोधन विधेयक के पक्ष में 323 वोट पड़े. 3 सांसदों ने इसका विरोध किया. बि‍ल लोकसभा में पास हो गया. शाम 5 बजे से शुरू हुई बहस के बाद रात 9.55 बजे इस व‍िधेयक पर वोटि‍ंग हुई. अब सरकार की नजरें राज्‍यसभा पर होंगी. जहां इस पर बुधवार को चर्चा होगी.

इस विधेयक पर शाम 5 बजे से बहस शुरू हो गई. बहस शुरू करते हुए केंद्रीय मंत्री थावरचंद्र गहलोत ने कहा, नि‍जी श‍िक्षण संस्‍थानों में भी ये आरक्षण लागू होगा. इसके साथ ही उन्‍होंने इस पर सभी दलों का समर्थन मांगा. उन्‍होंने कहा, जो आरक्षण है, उसमें कोई छेड़छाड़ नहीं की जाएगी. इसके बाद कांग्रेस के नेता केवी थॉमस ने चर्चा में ह‍िस्‍सा लिया. उन्‍होंने कहा, हम इस ब‍िल के खि‍लाफ नहीं हैं. लेकिन इससे पहले इस ब‍िल को जेपीसी में भेजो. कांग्रेस के सवालों का जवाब केंद्रीय व‍ित्‍त मंत्री अरुण जेटली ने दिया. उन्‍होंने इसे जुमला कहने वालों पर हमला बोलते हुए कहा, सवर्णों को आरक्षण देने के जुमले को सभी दलों ने अपने अपने घोषणा पत्र में रखा. उन्‍होंने कहा, आर्थ‍िक आधार पर आरक्षण मिलना चाहि‍ए.

अरुणजेटली ने कहा, ये सही है कि इससे पहले जो भी कोश‍िशें हुईं वह सुप्रीम कोर्ट में नहीं ठहर पाईं. सुप्रीम कोर्ट ने 50 फीसदी की सीमा लगाई, ये सीमा 16 ए के संबंध में थी. कांग्रेस को जवाब देते हुए जेटली ने कहा, आपने आरोप लगाया कि ये ब‍िल आप अभी क्‍यों लाए. तो आपको पटेलों के लिए आरक्षण गुजरात चुनाव से पहले क्‍यों याद नहीं आया. अरुण जेटली ने कांग्रेस को घोषणा पत्र के वादे को याद द‍िलाते हुए इस संशोधन का समर्थन करने की अपील की.

आम आदमी पार्टी के सांसद भगवंत मान ने इस चर्चा में ह‍िस्‍सा लेते हुए बीजेपी सरकार पर हमला बोला. उन्‍होंने इस मुद्दे पर कहा सरकार सत्र के आख‍िरी दिन इस ब‍िल को लेकर आई है. इस‍लि‍ए इनकी नीयत में खोट है. ये भारतीय जुमला पार्टी है. इनकी नीयत इस ब‍िल को लागू करने की नहीं है. सरकार इस आड़ में एससी एसटी का भी आरक्षण खत्‍म करना चाहती है.

इस बिल पर चर्चा करते हुए एआईएमआईएम के अध्‍यक्ष असदुद्दीन ओवैसी ने कहा, मैं इस बिल का विरोध करता हूं. क्‍योंकि ये बिल एक धोखा है. इस बिल के माध्‍यम से बाबा साहब आंबेडकर का अपमान किया गया है. आप इस बिल को सुप्रीम कोर्ट में पास नहीं करा सकते. ये वहां गिर जाएगा.

चर्चा में हिस्‍सा लेते हुए एम थंबीदुरई ने कहा, गरीबों के लिए चलाई जा रहीं कई स्‍कीम पहले से ही फेल हो चुकी हैं. आप जो ये बिल ला रहे हैं, वह सुप्रीम कोर्ट में फंस जाएगा.

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