पाकिस्तान, तुर्की और मलेशिया मिलकर एक टीवी चैनलकी शुरुआत करने जा रहे हैं इसकी जानकारी पाकिस्तान के सूचना एवं प्रसारण मंत्री फवाद चौधरी ने दी है तीनों देशों ने करीब दो साल पहले भी इस दिशा में कदम उठाया था, लेकिन तब प्रोजेक्ट खटाई में पड़ गया था.
पाकिस्तान, तुर्की और मलेशिया मिलकर लॉन्च करेंगे टीवी चैनल
रेडियो पाकिस्तान ने फवाद चौधरी के हवाले से बताया कि मीडिया शेयरिंग के लिए यह चैनल बनाया जाएगा.उनका कहना है कि पाकिस्तान, मलेशिया और तुर्की में चरमपंथ के मुद्दों से बचने की जरूरत है. इसके साथ ही अन्य मुस्लिम देशों में भी यह समस्या है, संयुक्त टीवी चैनल इससे निपटने में अहम भूमिका निभाएगा.
तीनो अल जजीरा से है प्रभावित
एक्सपर्ट्स के मुताबिक पाकिस्तान, मलेशिया और तुर्की की ओर से कई सालों से सऊदी अरब के समानांतर इस्लामिक लीडरशिप खड़ी करने की कोशिश की जाती रही है.जिस के तहत, दुनिया के सामने अपने मुद्दों को रखने के लिए तीनो एक चैनल भी लॉन्च करना चाहते हैं, बताया जा रहा है कि इन देशों की ये रणनीति अल जजीरा जैसे चैनल से प्रेरित है, जो कतर की फंडिंग से चलता है.
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इमरान ने पहली बार किया था ऐलान
पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान ने पहली बार ऐलान कर कहा था कि तुर्की और मलेशिया के साथ मिलकर एक इंग्लिश चैनल की शुरुआत की जाएगी.और इस चैनल का मकसद इस्लामोफोबिया का मुकाबला करना और इस्लामिक दुनिया के बारे में गलत धारणाओं को दूर करना होगा. इमरान ने यह भी कहा था कि तीन देशों का यह चैनल मुस्लिमों को मीडिया में मौका देगा और वे अंतरराष्ट्रीय स्तर पर इस्लामोफोबिया से मुकाबला करने की स्थिति में आ जाएंगे.
वीगर मुस्लिमों पर नहीं निकलती आवाज
पाकिस्तान और तुर्की ने इसी साल की शुरुआत में ऐलान किया था कि वे सलाहदुद्दीन अयूबी की जिंदगी पर एक ड्रामा सीरीज बनाने जा रहे हैं बता दे की अय्यूबी ने ही पश्चिम एशिया में अय्यूबिद वंश की स्थापना की थी गौरतलब है कि पाकिस्तान और तुर्की हमेशा से ही खुद को मुस्लिमों का रहनुमा साबित करने की कोशिश में लगे रहते हैं, किन्तु चीन में वीगर मुसलमानों के शोषण पर दोनों के मुंह से आवाज नहीं निकलती बड़े पैमाने पर चीन में मुस्लिमों को प्रताड़ित किया जा रहा है, लेकिन पाक और तुर्की इस पर कुछ नहीं बोलते